“मुझे परवाह नहीं, Allah ने ज़िंदगी दी है, वही लेगा”: बड़े फैसले से पहले बोलीं Shaikh Hashina :
नई दिल्ली, 17 नवंबर 2025: बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना ने अपने खिलाफ लगाए गए मानवता-विरोधी अपराधों के आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा है कि उन्हें अदालत के फैसले की कोई परवाह नहीं है। इंटरनेशनल क्राइम्स ट्रिब्यूनल द्वारा आने वाले अहम फैसले से ठीक पहले जारी एक ऑडियो संदेश में उन्होंने दावा किया कि उनके खिलाफ मामला राजनीतिक षड्यंत्र है और अंतरिम सरकार उनकी पार्टी—Awami League—को खत्म करने की कोशिश कर रही है। 78 वर्षीय हसीना, जो लंबे समय से भारत की करीबी मानी जाती हैं, पिछले साल देशभर में भड़के हिंसक प्रदर्शनों के बाद दिल्ली भाग आई थीं। उनके इस्तीफे के तुरंत बाद अर्थशास्त्री और नोबेल पुरस्कार विजेता मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व में एक अंतरिम सरकार बनी, जिसने उन पर मानवता-विरोधी अपराधों के आरोप लगाए। अदालत ने उन्हें ढाका में पेश होने के लिए कई बार समन भेजा, लेकिन उन्होंने इसे नजरअंदाज कर दिया। “Awami League को खत्म करना आसान नहीं” अपने संदेश में हसीना ने यूनुस पर सत्ता हथियाने और संविधान का उल्लंघन करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “Awami League जड़ से उठकर आई है, किसी सत्ता लोलुप व्यक्ति की जेब से नहीं। यूनुस लोगों को खत्म करना चाहता है, लेकिन यह इतना आसान नहीं है।” यूनुस को “भ्रष्ट, उग्रवादी और हत्यारा” बताते हुए हसीना ने कहा कि बांग्लादेश की जनता अंत में न्याय करेगी। उन्होंने प्रदर्शनकारियों और समर्थकों का धन्यवाद किया और कहा कि देश की जनता ने उन्हें फिर से भरोसा दिया है। “मैं जिंदा हूं, जिंदा रहूंगी। मैं फिर लोगों के कल्याण के लिए काम करूंगी और अपने देश की मिट्टी पर ही न्याय करूंगी,” उन्होंने कहा। उथल-पुथल के बीच सत्ता परिवर्तन हसीना ने कहा कि यूनुस ने एक चुनी हुई सरकार को जबरन हटाकर संविधान का उल्लंघन किया है। “यूनुस ने सोची-समझी रणनीति के तहत वही किया है जिसे संविधान अपराध मानता है,” उन्होंने आरोप लगाया। पिछले साल छात्रों के नेतृत्व में हुए प्रदर्शनों के बारे में उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने शुरुआती मांगों को मान लिया था, लेकिन नई-नई मांगें लगातार पेश की जाती रहीं। “उद्देश्य सिर्फ अराजकता फैलाना था,” हसीना बोलीं। मानवाधिकार उल्लंघन के आरोपों को खारिज करते हुए उन्होंने कहा, “मैंने 10 लाख रोहिंग्या को अपने देश में जगह दी और मुझे ही मानवाधिकार हनन का आरोपी बना दिया?” माफी और तोड़फोड़ पर नाराज़गी हसीना ने यूनुस सरकार द्वारा पुलिसकर्मियों, पत्रकारों, वकीलों, सांस्कृतिक हस्तियों और Awami League कार्यकर्ताओं के हत्यारों को दी गई माफी की कड़ी आलोचना की। “ऐसे लोगों को माफ करके उसने पीड़ित परिवारों के लिए न्याय का रास्ता बंद कर दिया है,” उन्होंने कहा। उन्होंने अपने हटाए जाने के बाद प्रधानमंत्री आवास—गोनोभवन—में हुई लूटपाट और तोड़फोड़ को “बर्बरता” बताया। “गोनोभवन मेरी संपत्ति नहीं, सरकार की संपत्ति है। जिसे वे क्रांति बता रहे हैं, वह गुंडों और आतंकियों की हरकत है,” उन्होंने कहा। “फैसला दे दें, मुझे परवाह नहीं” अपने संदेश के भावनात्मक हिस्से में हसीना ने कहा, “अल्लाह ने मुझे जिंदगी दी है, वही इसे लेगा। उन्हें फैसला देना है तो दे दें, मुझे कोई परवाह नहीं।” उन्होंने अपने माता-पिता और भाई-बहनों की हत्या की याद भी दिलाई। उन्होंने पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं को भरोसा दिलाया कि वर्तमान संघर्ष हमेशा नहीं चलेगा। “यह सिर्फ समय की बात है। सबका हिसाब होगा और मैं मानती हूं कि मैं सबका जवाब दे सकूंगी, इंशाअल्लाह।” अंत में उन्होंने अंतरिम सरकार पर बेरोज़गारी बढ़ाने, उद्योग बंद होने और बैंकों में घोटाले होने के आरोप लगाए। “हमें बांग्लादेश को इस स्थिति से निकालना होगा,” उन्होंने कहा और संदेश का समापन किया: “जय बंगला, जय बंगला, बांग्लादेश।”
HINDI NEWS
Farheen Bano
11/17/20251 min read
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